जमशेदपुर | झारखण्ड
नेताजी सुभाष यूनिवर्सिटी में मंगलवार को शिक्षक दिवस की धूम रही। यूनिवर्सिटी में समारोहपूर्वक शिक्षक दिवस मनाया गया। इस अवसर पर मुख्य रूप से कोल्हान विश्वविद्यालय के पूर्व वित्त अधिकारी डॉ पीके पाणि तथा संस्थापक व वरिष्ठ शिक्षक विनोद राय उपस्थित थे। समारोह में डॉ पाणि एवं श्री राय को शिक्षा के क्षेत्र में अथक प्रयास के लिए शॉल ओढ़ा कर तथा स्मृति चिह्न भेंट कर सम्मानित किया गया।
इस अवसर पर यूनिवर्सिटी के विद्यार्थियों ने शिक्षकों के सम्मान में कई रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों की कड़ी में नृत्य व स्कीट प्रस्तुत किये। इसके माध्यम से उन्होंने गुरु वंदना भी की। साथ ही जीवन में गुरु की महत्ता बतायी। छात्र-छात्राओं ने गुरु के बताये आदर्शों को आत्मसात करने का संकल्प लिया।
समारोह में डॉ पीके पाणि ने कहा कि माता-पिता हमारे प्रथम गुरु होते हैं और अपना घर प्रथम विद्यालय होता है। जीवन जीने की शिक्षा माता-पिता से ही मिलती है। जबकि मंजिल तक पहुंचाने की जिम्मेवारी विद्यालय की होती है। उन्होंने डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन की जीवनी पर प्रकाश डाला। साथ ही भारत में गुरु-शिष्य परंपरा पर प्रकाश डालते हुए गुरुजनों का सम्मान करने की सीख दी। विनोद राय ने भी डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन की जीवनी पर प्रकाश डालते हुए शिक्षक दिवस की महत्ता एवं प्रासंगिकता पर चर्चा की। उन्होंने छात्र-छात्राओं को संस्कारी बनने की सीख दी।
इससे पूर्व अतिथियों व यूनिवर्सिटी के कुलपति डॉ गंगाधर पंडा ने दीप प्रज्जवलित कर समारोह की शुरुआत की। तत्पश्चात स्वागत भाषण के साथ कार्यक्रमों को आगे बढ़ाया गया। समारोह में यूनिवर्सिटी के प्रति उपकुलपति डॉ आचार्य ऋषि रंजन, एकेडमिक्स डीन शोम, परीक्षा नियंत्रक ओपी शर्मा, डीन एडमिनिस्ट्रेशन प्रो नजीम खान समेत शिक्षक – शिक्षिकाएं उपस्थित थे।