बहरोड़, राजस्थान: नगर परिषद में फल व सब्जी विक्रेताओं से अवैध वसूली का मामला सामने आया है। जिसके विरोध में बुधवार को सब्जी व फल विक्रेताओं ने अपना काम बंद कर प्रदर्शन किया तथा एसडीएम के नाम तहसीलदार अभिषेक यादव को ज्ञापन दिया।
ज्ञापन में कहा गया है कि हम कई वर्षों से बहरोड़ ओवर ब्रिज व शहर के मुख्य मार्गों पर फल व सब्जी के ठेले लगाकर अपने परिवार का भरण पोषण कर रहे हैं। इससे पहले नगर परिषद बहरोड़ की ओर से हमसे कभी कोई वसूली नहीं की गई। अब परिषद हमसे 40 से 50 रुपए प्रतिदिन की रसीद काटकर पैसे वसूल रही है। विक्रेताओं का कहना है कि हम सब्जी व फल बेचकर शाम तक 200 से 300 रुपए कमा लेते हैं।
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नगर परिषद को 40-50 रुपए देने के बाद परिवार का भरण पोषण करने में दिक्कत आ रही है। कई बार फल व सब्जी खराब हो जाने पर उन्हें गौशाला में भेजना पड़ता है। ऐसे में परिवार का भरण पोषण करना मुश्किल हो रहा है। रेहड़ी वालों का कहना है कि बहरोड़ कस्बे में करीब 2000 रेहड़ी वाले काम करते हैं। 40 रुपए के हिसाब से प्रतिदिन 80 हजार रुपए की कमाई होती है। चार दिन में करीब 3 लाख 20 हजार रुपए वसूली करने वालों ने वसूले हैं।
सभापति सीताराम यादव का कहना है कि इसका कोई ठेका नहीं दिया गया है। किसने पर्ची जारी की है? इसकी हमें जानकारी नहीं है। जब हमें पता चला तो हमने इसे रुकवा दिया और कहा कि कोई किसी को पैसे न दे।
वहीँ कार्यवाहक आयुक्त धर्मपाल जाट का कहना है कि ठेका पहले ही दिया जा चुका है। जो करीब 5 लाख रुपए का है। फर्म का नाम याद नहीं है। अगर ये लोग नगर परिषद की जमीन का उपयोग कर रहे हैं तो शुल्क जायज है। अगर ये निर्धारित शुल्क से ज्यादा वसूल रहे हैं तो इसकी जांच करवाएंगे। रेहड़ी वालों के समर्थन में आए पूर्व विधायक बलजीत यादव ने कहा कि रेहड़ी वालों के साथ अन्याय हो रहा है। अवैध वसूली करने वालों की जांच कर उन्हें सजा मिलनी चाहिए ताकि न्याय हो।
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