जमशेदपुर | झारखण्ड
जिला प्रशासन द्वारा सिदगोड़ा टाउन हॉल में 20 अगस्त को डायन प्रथा उन्मूलन एवं नशा मुक्ति अभियान को लेकर कार्यशाला आयोजित किया गया है। जिला दण्डाधिकारी सह उपायुक्त श्री मंजूनाथ भजन्त्री द्वारा कार्यशाला के सफल आयोजन को लेकर बैठक कर पदाधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिया गया। प्रतिभागी के रूप में मुखियागण, ग्राम प्रधान व माझी परगना कार्यशाला में शामिल होंगे। रूढ़िवादी एवं अंधविश्वास की प्रथाओं के रोकथाम को लेकर आम ग्रामीणों को कैसे जागरूक किया जाये इस दिशा में जिला प्रशासन द्वारा एक पहल है।
जिला दण्डाधिकारी-सह- उपायुक्त द्वारा कार्यक्रम की रूपरेखा को लेकर पदाधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिया। उपायुक्त ने कहा कि जितनी भी कुप्रथायें हैं जो कानूनी, सामाजिक एवं नीतिगत रूप से सही नहीं हो सकती उन सभी को अनिवार्य रूप से हतोत्साहित किया जाना चाहिए। उन्होने कहा कि तकनीक के इस युग मे सूचना के गलत सम्प्रेषण से जहां कई बार भावनाएं उद्वेलित होती हैं तो कई बार सही सूचनाओं के सम्प्रेषण से सामाजिक कुरीतियों पर रोकथाम लगाई जा सकती है। उन्होंने कहा कि किसी भी सतर पर संवादहीनता नहीं रहेगी तो ऐसी कई कुप्रथाओं पर जनजागरूकता लाते हुए जरूर रोकथाम लगाया जा सकेगा।