Connect with us

झारखंड

इन्द्रा नगर- कल्याण नगर के क़रीब 150 घरों को तोड़ने की नोटिस जिला प्रशासन ने एनजीटी के आदेश पर किया है – वरीय अधिवक्ता

Published

on

इन्द्रा नगर- कल्याण नगर के क़रीब 150 घरों को तोड़ने की नोटिस जिला प्रशासन ने एनजीटी के आदेश पर किया है - वरीय अधिवक्ता

कोलकाता/जमशेदपुर: नेशनल ग्रीन ट्रिब्युनल ने इन्द्रानगर- कल्याण नगर के बस्तीवासियों का घर टूटने के विरूद्ध बस्तीवासियों की ओर से सुप्रीम कोर्ट के वरीय अधिवक्ता श्री संजय उपाध्याय द्वारा दायर हस्तक्षेप याचिका इस आधार पर सुनने से इंकार कर दिया कि बस्तीवासियों का घर तोड़ने के लिए जमशेदपुर के अंचलाधिकारी द्वारा दी गई नोटिस का एनजीटी के प्रासंगिक मुक़दमा से कोई संबंध नहीं है.

एनजीटी ने वरीय अधिवक्ता को सुनने के बाद कहा कि जमशेदपुर अंचलाधिकारी की नोटिस का न तो दलमा इको सेंसिटिव ज़ोन से इन घरों की दूरी का कोई संबंध है और न ही स्वर्णरेखा नदी तट से इनकी दूरी का कोई संबंध है. जमशेदपुर अंचलाधिकारी की यह नोटिस विशुद्ध रूप से ज़िला प्रशासन का मामला है.

वरीय अधिवक्ता ने अपना पक्ष रखते हुए कहा कि जमशेदपुर के तमाम अख़बारों में प्रमुखता से खबर प्रकाशित हो रही है कि इन्द्रा नगर- कल्याण नगर के क़रीब 150 घरों को तोड़ने की नोटिस जिला प्रशासन ने एनजीटी के आदेश पर किया है तो एनजीटी की बेंच ने कहा कि इन घरों का उल्लेख एनजीटी के आदेशानुसार गठित संयुक्त जाँच समिति के प्रतिवेदन में नहीं है.

यह भी पढ़ें : टाटा पावर सोलर सिस्टम्स ने आवासीय और कॉर्पोरेट उपभोक्ताओं को आसान फाइनेंसिंग दिलाने के लिए आईसीआईसीआई बैंक के साथ सहयोग किया

झारखंड सरकार के वन पर्यावरण विभाग की रिपोर्ट में भी इनका उल्लेख नहीं है.

झारखंड सरकार के मुख्य सचिव ने अभी तक शपथ पत्र नहीं दिया है कि किनके घर तोड़े जाएँगे.

एनजीटी ने बस्तीवीसियों के अधिवक्ता श्री संजय उपाध्याय की दलील पर कहा कि आगे कभी झारखंड सरकार के किसी प्रतिवेदन में अथवा मुख्य सचिव के शपथ पत्र में इन घरों को एनजीटी के निर्देशानुसार तोड़ने की बात आएगी तो उस समय आप इस मामला को लेकर एनजीटी के सामने आने के लिए स्वतंत्र हैं.

सुप्रीम कोर्ट के वरीय अधिवक्ता श्री संजय उपाध्याय की बात को कोर्ट ने ध्यान से सुना जिसमें उन्होंने कहा कि जमशेदपुर ज़िला प्रशासन ने एनजीटी के आदेश का हवाला देकर इन्द्रा नगर- कल्याण नगर के घरों को तोड़ने की नोटिस दिया है। इस पर कोर्ट ने कहा कि ऐसा होगा तब हम आपकी बात ज़रूर सुनेंगे.

यह भी पढ़ें : भरें यह फार्म! टेक महिन्द्रा द्वारा युवाओं के लिए सुनहरा अवसर, झारखण्ड में 15,000 युवाओं को मिलेगा रोजगार।

Continue Reading
Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *