अपनी हार स्वीकार न होने पर कोई अपने ही देश की शांति को इस प्रकार भंग कर सकता है , विचारणीय विषय है। विश्व का पावरफुल देश कहा जाने वाला अमेरिका भी अशांत हो चुका है। वर्ष 2020 में हुए अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की हार ने बुधवार को खतरनाक मोड़ ले लिया। अमेरिका में इस तरह की अस्थिरता शायद ही कभी हुई हो। असंख्य भीड़ ने अमेरिकी संसद भवन में अचानक हमला कर दिया। सैकड़ों लोग इलेक्टोरल कॉलेज में वोटों की गिनती रोकने के लिए बैरिकेट्स को तोड़ते हुए, मेन हॉल में घुसने लगे।
पुलिस और सुरक्षा बल ने उपद्रवियों को रोकने लगे आंसू गैस दागे। भीड़ अधिक होने की वजह से यह युक्ति भी असफल हो गई। इस उपद्रव में 4 लोगों की मौत हो चुकी है। कुछ घंटों की मशक्कत के बाद पुलिस ने 50 से अधिक लोगो को गिरफ्तार कर लिया है। उनके पास से 5 गन बरामद हुए है। उपद्रवियों ने संसद भवन को 4 घंटे के लिए बंधक बनाकर रख लिया था। इस घटना की पूरी जानकारी डोनाल्ड ट्रम्प को व्हाइट हाउस के टीवी स्क्रीन पर मिल रही थी।
इस उपद्रव के कुछ ही घंटों के बाद अमेरिकी कोंग्रेस ने जो बाइडेन को बतौर रास्ट्रपति घोषित कर दिया।