जमशेदपुर | झारखण्ड
मानगो को नगर निगम नहीं बल्कि जमशेदपुर की तरह अधिसूचित क्षेत्र समिति रहने दिया जाए और जुस्को के साथ जोड़ दिया जाए। – शिवपूजन सिंह (अध्यक्ष, सिंहभूम केन्द्रिय वरिष्ठ नागरिक समिति)
वर्ष 2016 में झारखंड सरकार मानगो को नगर निगम घोषित कर दिया जिसका आधार था सिर्फ जनसंख्या। एक नगर निगम में म्युनिसिपल एक्ट के अनुसार क्या-क्या सुविधा होनी चाहिए, इसका कहीं भी जिक्र नहीं किया गया है। नगर निगम में जनता के प्रतिनिधित्व को आज तक लागू नहीं किया और सभी अधिकार सरकारी पदाधिकारियों और कर्मचारियों के हाथ में चला गया। ये कर्मचारी जनता की हित न सोचकर सरकार के हित की बात सोचते हैं।
मानगो नगर बनने के बाद से सिर्फ दो ही काम हुआ है, एक तो अधिसूचित क्षेत्र समिति के कर्मचारियों का पदनाम बदल गया और दूसरा 80 रूपया प्रोविजनल टैक्स को दो हजार गुना बढा दिया गया। नगर निगम के लोगों ने आज तक मानगो के विकास के लिए कोई प्रारूप तैयार नहीं किया है।
मानगो से सटे जमशेदपुर में अधिसूचित क्षेत्र समिति चल रही है जिसकी व्यवस्था जुस्को के सहयोग से मानगो से शत प्रतिशत अच्छी है। जहां कोई टैक्स लगता ही नहीं। इसलिए मानगो की जनता से अपील है कि अपनी एकजुटता को बनाए और झारखंड सरकार पर दबाव बनाये की मानगो में भी अधिसूचित क्षेत्र समिति रहने दिया जाए। साथ ही जुस्को के साथ इसको जोड़ दिया जाए तो मानगो की व्यवस्था भी जमशेदपुर जैसी हो जायेगी, नहीं तो जिस ढंग से मानगो में टैक्स निर्धारित किया गया है, गरीब जनता को घर बेचकर भाग जाना पड़ेगा। ऐसे मेयर और वार्ड पार्षद के ललायित लोग जनहित के लिए नहीं बल्कि व्यक्तिगत हित के लिए परेशान हैं। इस बात को संघर्ष करने वाले कर्मठ निःस्वार्थ जुझारू नेतृत्व कर्ता सुशील कुमार सिंह से मेरा विशेष आग्रह होगा कि इस सम्बन्ध में दिनांक 21 मई 2023 दिन रविवार को एक विशाल बैठक बुलाने का कष्ट करें।