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क्राइम

पूर्वी सिंहभूम में 4281 फर्जी जन्म प्रमाणपत्र घोटाले का पर्दाफाश: दो अवैध प्रज्ञा केंद्र शामिल, 682 मुस्लिम समुदाय के नाम, पांच गिरफ्तार

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🎙️ जिला प्रशासन ने प्रेस वार्ता में किया बड़ा खुलासा, दो अवैध प्रज्ञा केंद्र भी संलिप्त

✍️ संवाददाता | जमशेदपुर | 6 मई 2025

पूर्वी सिंहभूम जिले के चाकुलिया प्रखंड में वर्षों से चल रहे जन्म प्रमाणपत्र फर्जीवाड़े की परतें अब खुलने लगी हैं। सोमवार को जिला उपायुक्त कार्यालय सभागार में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में प्रशासन ने मामले का विस्तृत खुलासा किया, जिससे न केवल प्रशासनिक व्यवस्था पर सवाल खड़े हुए, बल्कि डिजिटल पहचान व्यवस्था की सुरक्षा को लेकर भी गंभीर चिंताएं सामने आईं।

🔍 घोटाले के आंकड़े चौंकाने वाले

जिला प्रशासन के अनुसार, जनवरी 2023 से अब तक जारी किए गए 4567 जन्म प्रमाणपत्रों में से 4281 प्रमाणपत्र फर्जी पाए गए हैं। इनमें से 682 प्रमाणपत्र मुस्लिम समुदाय के नाम पर जारी किए गए, जिससे मामला संवेदनशील हो गया है।

📄 मामले का पंजीकरण व कानूनी कार्यवाही

प्रखंड विकास पदाधिकारी (BDO) सुश्री आरती मुंडा की लिखित शिकायत पर दिनांक 02.05.2025 को चाकुलिया थाना कांड संख्या 32/2025 के तहत मामला दर्ज किया गया। आरोपियों पर निम्न धाराएं लगाई गईं:

🔸 BNS की धारा: 318(4)/338/336(3)/340(2)/61(2)/3(5)
🔸 IT एक्ट की धारा: 65

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👤 मुख्य आरोपी और उन पर आरोप

  • सुनील महतो (पंचायत सचिव, मटियाबांधी)
  • सपन महतो (VLE, मटियाबांधी प्रज्ञा केंद्र)

इन दोनों पर अपने लॉगिन ID और पासवर्ड का दुरुपयोग कर, पंचायत क्षेत्र के बाहर के लोगों के नाम पर फर्जी जन्म प्रमाणपत्र बनाने का गंभीर आरोप है।

👮‍♂️ छापामारी व गिरफ्तारी

पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) के नेतृत्व में एक विशेष छापामारी दल ने पाँच आरोपियों को गिरफ्तार किया:

  1. 🧑‍💼 सुनील महतो – पंचायत सचिव
  2. 🧑‍💻 सपन महतो – VLE
  3. 💻 शिवम डे – VLE, मलकुंडी पंचायत
  4. 📱 हरिश प्रमाणिक – VLE, तुजू पंचायत
  5. ☎️ आरिफ आलम – संबंधित व्यक्ति, ईटकी (रांची)

🖥️ जब्त किए गए डिजिटल उपकरण:

  • 🖨️ मटियाबांधी पंचायत से: CPU, मॉनिटर, प्रिंटर
  • 🖨️ सपन महतो के केंद्र से: CPU, मॉनिटर, प्रिंटर
  • 💻 शिवम डे के घर से: DELL लैपटॉप, रियलमी मोबाइल, नोकिया कीपैड
  • 📱 हरिश प्रमाणिक से: iPhone
  • 📱 आरिफ आलम से: रियलमी मोबाइल
  • 📑 BDO द्वारा प्रमाणित 190 फर्जी प्रमाणपत्रों की सूची

🧾 जाँच टीम में शामिल अधिकारी:

  • संदीप भगत (पुलिस उपाधीक्षक, मुसाबनी)
  • मनोज कुमार गुप्ता (निरीक्षक, धालभूमगढ़)
  • मधुसूदन डे, संतोष कुमार, इन्द्रेश कुमार, अखिलेश कुमार, पंकज कुमार (थाना प्रभारी)

📌 विश्लेषण: प्रशासनिक लापरवाही और डिजिटल गड़बड़ियों की पोल खुली

यह मामला न केवल संगठित डिजिटल धोखाधड़ी को उजागर करता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि सरकारी डिजिटल सेवाओं की सुरक्षा व्यवस्था किस हद तक असुरक्षित है।
विशेष रूप से मुस्लिम समुदाय से जुड़े मामलों की संख्या अधिक होने के कारण यह एक सामाजिक-संवेदनशील मुद्दा भी बन गया है।

सुझाव और आवश्यक कार्रवाई

  • 🔐 सभी प्रज्ञा केंद्रों की सघन जांच की जाए।
  • 💻 लॉगिन ID/पासवर्ड सिस्टम को OTP या बायोमेट्रिक सुरक्षा से जोड़ा जाए।
  • 📊 जन्म प्रमाणपत्रों की डिजिटल वेरिफिकेशन प्रणाली लागू की जाए।

🚨 जिला प्रशासन की अपील:

जनता यदि किसी संदिग्ध प्रमाणपत्र या अवैध गतिविधि की जानकारी रखती है तो उसे तुरंत स्थानीय प्रशासन या पुलिस को सूचित करें।

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