6 फरवरी को देशव्यापी चक्का जाम, किसान आंदोलन या उपद्रवी आंदोलन?

किसानों की लड़ाई बदलती नजर आ रही है। अब उनकी लड़ाई कृषि कानून के विपरीत दिशा में बढ़ने लगी है। किसान बने लोगों का कहना है कि 6 फरवरी 2021 के दिन भारत के प्रत्येक क्षेत्र में चक्का जाम किया जाएगा।  जिसमें स्थानीय लोगों की भागीदारी सबसे अधिक होगी। 

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आपको बताते चले कि भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने एक बार फिर कहा है की दिल्ली में चक्का जाम नहीं किया जाएगा बल्कि जो यहां नहीं आ पाएं हैं वो अपनी-अपनी जगहों पर ही 6 फरवरी को चक्का जाम शांतिपूर्ण तरीके से पूर्ण करेंगे। 

साथ ही संयुक्त किसान मोर्चा ने यह ऐलान किया है कि 6 फरवरी को दोपहर 12 से तीन बजे तक देशव्यापी चक्का जाम के लिये सभी नेशनल और स्टेट हाईवे जाम किया जाये।

विशेष बात आप को बता दें 26 जनवरी के दिन जिस प्रकार से इन्होंने ट्रैक्टर रैली के नाम पर देश विरोधी प्रदर्शन किया था उससे तो यही लगता है कि 6 फरवरी को होने वाला चक्का जाम भी बिल के खिलाफ नही होगा बल्कि देश की संपत्ति को ही नुकसान पहुँचाया जाएगा।  प्रदर्शनकारियों के चक्का जाम कार्यक्रम देखते हुए दिल्ली पुलिस ने दिल्ली बॉर्डर की सुरक्षा बढ़ा दी हैं। 

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आपको इस बात की जानकारी जरूर होगी कि पिछले सप्ताह सिंघु बॉर्डर पर प्रदर्शनकारियों ने तलवार लेकर पुलिसवालों पर हमला बोल दिया था । इसलिए इस बार दिल्ली पुलिस अधिक सतर्क है । किसानों की आड़ लेकर उपद्रवियों के द्वारा देश में उपद्रव कराया जा रहा है जिससे कि विश्व में देश की छवि को खराब करने का षड्यंत्र पूरा हो सके।


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