जमशेदपुर: सुरभि शाखा द्वारा आयोजित पांच दिवसीय कार्यक्रम के चौथे दिन, शाखा ने “गुड टच” और “बेड टच” एवं सोशल अवेयरनेस पर एक कार्यशाला का आयोजन किया। इस कार्यशाला का उद्देश्य बच्चों को उनके शरीर की सुरक्षा के बारे में जागरूक करना और उन्हें “अच्छे स्पर्श” और “बुरे स्पर्श” के बीच अंतर सिखाना था।
कार्यशाला में, बच्चों को बताया गया कि “गुड टच” क्या है, जैसे कि जब कोई उनके सिर पर हाथ फेरता है, उनके बालों को सहलाता है, या उनके गाल को छूता है। उन्हें यह भी बताया गया कि “बेड टच” क्या है, जैसे कि जब कोई उनके निजी अंगों को छूता है या उन्हें ऐसा कुछ करने के लिए मजबूर करता है जो उन्हें असहज महसूस कराता है।
कार्यशाला में इस बात पर भी जोर दिया गया कि बच्चों और माता-पिता के बीच भरोसे का मजबूत रिश्ता होना चाहिए। बच्चों को प्रोत्साहित किया गया कि वे बिना किसी डर के अपने माता-पिता को सब कुछ बता सकें, खासकर अगर उन्हें किसी ने गलत तरीके से छुआ हो।
शाखा अध्यक्ष, श्रीमती कविता अग्रवाल ने कहा, “यह कार्यशाला बच्चों को यह सिखाने के लिए महत्वपूर्ण है कि वे कैसे सुरक्षित रह सकते हैं। हमें उन्हें सशक्त बनाना होगा ताकि वे अपनी सुरक्षा के लिए खड़े हो सकें और किसी भी गलत व्यवहार के खिलाफ आवाज उठा सकें।”
कार्यशाला में, शाखा की उपाध्यक्ष, सुश्री पायल अग्रवाल ने बच्चों को “गुड टच” और “बेड टच” के बीच अंतर को समझाने के लिए एक प्रदर्शन भी किया।
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शाखा सचिव, श्रीमती पूजा अग्रवाल ने कहा, “हमने बच्चों को सोशल मीडिया के खतरों के बारे में भी जागरूक किया। उन्होंने उन्हें समझाया कि सोशल मीडिया पर साझा की गई जानकारी हमेशा सुरक्षित नहीं होती है और इसका उपयोग उन्हें नुकसान पहुंचाने के लिए भी किया जा सकता है।”
यह कार्यक्रम शाखा अध्यक्ष श्रीमती कविता अग्रवाल, सचिव श्रीमती पूजा अग्रवाल और कोषाध्यक्ष श्रीमती पायल अग्रवाल के नेतृत्व में आयोजित किया गया था। कार्यक्रम को सफल बनाने में पूर्व अध्यक्ष श्रीमती उषा चौधरी और उपाध्यक्ष श्रीमती पिंकी अग्रवाल का भी योगदान रहा।