जमशेदपुर | झारखण्ड
उपायुक्त,
पूर्वी सिंहभूम, जमशेदपुर।
विषय: मेरे विधायक निधि से स्वीकृत कतिपय योजनाओं के क्रियान्वयन में बाधा उत्पन्न
करने के संबंध में।
महोदय,
सिदगोड़ा स्थित टाऊन हाॅल और सूर्य मंदिर के बीच में स्थित राज्य सरकार की भूमि पर मैंने करीब 7 योजनाओं का क्रियान्वयन करने की अनुशंसा किया है, जिसकी स्वीकृति हो चुकी है। क्रियान्वयन एजेंसी के रूप में जमशेदपुर अक्षेस योजनाओं पर कार्य आरंभ करने के लिए स्थल पर गया तो सूर्य मंदिर से संबंधित कतिपय लोगों ने इसका विरोध किया। उन्होंने आपके समक्ष भी अभ्यावेदन दिया है। नतीजा है कि उन योजनाओं का क्रियान्वयन आरंभ नहीं हो सका। योजनाओं की सूची निम्नवत है:
1. नगर भवन, सिदगोड़ा के बगल में एक बास्केट बाॅल कोर्ट का निर्माण एवं स्थल का सौंदर्यीकरण कार्य।
2. सिदगोड़ा, सूर्य मंदिर के सामने के शंख मैदान का सांदर्यीकरण और वृक्षारोपण कार्य।
3. चिल्ड्रेन पार्क के मुख्य द्वार का निर्माण।
4. नगर भवन, सिदगोड़ा के ग्राउंड फ्लाॅर पर अवस्थित दो कमरे बेकार पड़े हुए हैं, इनमें टेबल टेनिस कोर्ट, विलियर्ड आदि इंडोर गेम के लिए आवश्यक कार्य।
5. सिदगोड़ा स्थित सूर्य मंदिर और चिल्ड्रेन पार्क के बीच पूर्व में निर्मित दो बड़े तलाबों में बच्चों के मनोरंजन हेतु वोटिंग के लिए पैडल से चलने वाले 2 सीटर वोट की व्यवस्था करना।
6. सिदगोड़ा, सूर्य मंदिर परिसर स्थित शंख मैदान के बगल वाले मैदान में कबड्डी कोर्ट का निर्माण।
7. सिदगोड़ा, सूर्य मंदिर परिसर स्थित शंख मैदान के बगल वाले मैदान में वाॅलीबाॅल कोर्ट का निर्माण।
उल्लेखनीय है कि टाऊन हाॅल एवं सूर्य मंदिर परिसर की भूमि सरकार की स्वामित्व वाली है और इसपर सभी योजनाएं सरकार के मद से निर्मित हुई हैं। विगत एक वर्ष पहले सरकार ने इन्हें अपने कब्जे में लेकर जमशेदपुर अक्षेस को सौंप दिया है। इस संबंध में निम्नांकित परिपत्र आपके अवलोकनार्थ अनुलग्नक के रूप में संलग्न है।
अतः अनुरोध है कि मेरे विधायक निधि से स्वीकृत उपर्युक्त योजनाओं को शीघ्र लागु करने तथा इसके क्रियान्वयन में आ रही बाधाओं को दूर करने के संबंध में आवश्यक निर्देश करेंगे।
सधन्यवाद,
अनुलग्नक:
1. राज्य सरकार के निर्देशानुसार पूरे परिसर को जमशेदपुर अक्षेस को सुपुर्त करने संबंधी परिपत्र।
2. चिल्ड्रेन पार्क में प्रवेश के लिए अवैध वसूली रोकने के लिए जिला प्रशासन का परिपत्र।
3. सूर्य मंदिर समिति के निबंधन रद्द करने के संबंध में सरकार का परिपत्र।
4. वर्ष 2005 से वर्ष 2019 के बीच परिसर का विधायक निधि, राज्यसभा सांसद एवं पर्यटन विभाग से क्रियान्वित योजनाओं की सूची।
भवदीय
सरयू राय
——————————————————————–
उपायुक्त,
पूर्वी सिंहभूम, जमशेदपुर।
विषय: सिदगोडा सूर्य मंदिर के सामने नवनिर्मित चिल्ड्रन पार्क में तोड़ फोड़ करने और
स्वीमिंग पुल परिसर का ताला तोड़कर अवैध रूप से बच्चों का प्रवेश पुल में कराने
वालों पर कारवाई करने के संबंध में.
महाशय,
आप अवगत हैं कि मेरे विधायक निधि से नवनिर्मित स्वीमिंग पुल के परिसर में जेएनएसी का ताला लगा था. सूर्य मंदिर से जुड़े लोगों ने आज ताला तोड़कर अपना ताला वहाँ लगा दिया. वहाँ पर पुल में अवैध रूप से बच्चों के झुंड को घुसा दिया.
आपको मालूम है कि गत 30 अगस्त को इस स्वीमिंग पुल का लोकार्पण हुआ. मेरे विधायक नीधि से बने इस तरण ताल का औपचारिक प्रभार जेएनएसी ने ले लिया. जेएनएसी के विशेष पदाधिकारी ने घोषणा किया कि 5 सितंबर, 2023 (शिक्षक दिवस) से स्वीमिंग पुल का उपयोग करने के इच्छुक बच्चों का रजिस्ट्रेशन आरम्भ होगा और 15 सितंबर तक चलेगा. इसके बाद 17 सितंबर, 2023 से दक्ष ट्रेनर की देखरेख में स्वीमिंग पुल का उपयोग बच्चे करने लगेंगे. इसके लिये पुल के संचालन की नियमावली तैयार कर ली गई है.
परंतु आज परिसर का ताला तोड़कर सूर्य मंदिर से जुड़े लोगों ने स्वीमिंग पुल में उतरने वाले बच्चों के स्नान के लिए बने झरनों तथा चेंजिंग रूम में लगे आलमारी में तोड़ फोड़ किया, इसे तहस नहस कर दिया. संलग्न तस्वीरें इसका बयान कर रही हैं.
विधायक निधि से मैंने बच्चों का तरण ताल बनवा दिया और 30 अगस्त को इसका लोकार्पण कर इसे जेएनएसी को सौंप दिया. इसका संचालन अब जेएनएसी/जिला प्रशासन करेगा. इसमें मेरा कोई व्यक्तिगत हस्तक्षेप नहीं होगा. तरण ताल को नष्ट करने वाले, इसमें तोड़ फोड़ करने वाले यदि मुझसे द्वेष के कारण ऐसा कर रहे हैं तो वे मेरी नहीं बल्कि सरकारी सम्पत्ति का नुकसान कर रहे है. मुझे इस जघन्य कृत्य की जानकारी मिली तो मैं इससे आपको अवगत करा रहा हूँ.
अनुरोध है कि आप इस बारे मे विधिसम्मत कारवाई करना चाहेंगे. ऐसा होने से उपद्रवी मानसिकता वाले विघ्न संतोषियों को दंड मिलेगा और वे आगे ऐसा करने की हिम्मत नहीं जुटा सकेंगे.
सधन्यवाद,
ह॰/-
सरयू राय
प्रतिलिपि: अनुमंडल पदाधिकारी, धालभूम, जमशेदपुर।
सरयू राय
——————————————————————–
उपायुक्त,
पूर्वी सिंहभूम, जमशेदपुर।
विषय: सूर्य मंदिर, सिदगोड़ा की बाउंड्री करने के संबंध में।
महाशय,
आप अवगत होंगे कि पूर्वी सिंहभूम जिला प्रशासन की जाँच में साबित हो गया है कि सिदगोड़ा सूर्य मंदिर तथा आसपास की समस्त संरचनाएँ सरकारी जमीन पर खड़ी हैं और सरकारी निधि से निर्मित हुई हैं। सूर्य मंदिर के तथाकथित प्रबंधकों ने आसपास की भूमि और इसपर निर्मित संरचनाओं पर विगत दो दशक से अवैध कब्जा कर रखा था। विगत तीन वर्षों में पूर्वी सिंहभूम जिला प्रशासन ने राज्य सरकार को एक से अधिक बार सूचित किया है कि सरकार की निधि से निर्मित ये सभी संरचनायें अवैध कब्जा से मुक्त करा ली गई हैं और इन्हें जेएनएसी को हस्तगत करा दिया गया है। जेएनएसी ने भी बताया है कि उसने इन्हें अपने कब्जा में ले लिया है। यह जानकारी मेरे प्रश्न के उत्तर में सरकार ने विधानसभा में भी दी है।
इसके बावजूद सूर्य मंदिर के प्रबंधक शेष भूमि पर सरकार की निधि से लागू होने वाली योजनाओं के क्रियान्वयन में अड़ंगा लगाने से बाज नहीं आ रहे हैं। आवश्यक प्रतीत हो रहा है कि चारों ओर से सूर्य मंदिर की स्पष्ट बाउंड्री कर दी जाय, ताकि सूर्य मदिर के प्रबंधक मंदिर व्यवस्था का संचालन जिस भांति करना चाहे करें, परंतु शेष सरकारी भूमि को सिदगोड़ा क्रीड़ा उद्यान के रूप में विकसित करने में बाधा नहीं डालें।
उल्लेखनीय है कि तीन दिशाओं में सूर्य मंदिर की बाउंड्री हो चुकी है। सड़क किनारे की दो दिशाओं में पक्का दीवाल है और तीसरी ओर सूर्य मंदिर एवं शंख मैदान के बीच लोहा ग्रिल की बाउंड्री निर्मित है। लोहा ग्रिल बाउंड्री का निर्माण 2021-22 में तत्कालीन राज्यसभा सदस्य श्री महेश पोद्दार द्वारा प्रदत्त सांसद निधि योजना से की गई है। अब केवल एक दिशा में सूर्य मंदिर की बाउंड्री होना बाकी है।
सूर्य मंदिर के सामने श्रद्धालुओं के उपयोग के लिये दो दरवाजे हैं। दाहिनी ओर के दरवाजा के समीप पक्का दीवाल की बाउंड्री है, पर बायीं ओर के दरवाजा के समीप कोई बाउंड्री नहीं है। इसके बायीं ओर सरकार की निधि से निर्मित दो भवन हैं जिन्हें कागज पर तो जेएनएसी ने जिला परिषद से हस्तगत कर लिया है, परंतु व्यवहार में अभी भी इनपर सूर्य मंदिर के प्रबंधकों का कब्जा है। इनमें से एक मंजिला भवन में सूर्य मंदिर प्रबंधकों ने जबरन कार्यालय बना रखा है और दो मंजिला भवन के नीचे का हिस्सा इन्होंने एक परिवार को रहने के लिए दिया है। हस्तगत कर लेने के बावजूद इन दोनों भवनों पर से अवैध कब्जा हटाकर जेएनएसी इन्हें अभी तक अपने कब्जा में नहीं ले सका है। जबकि विधानसभा में मेरे प्रश्न के उत्तर में जिला प्रशासन/जेएनएसी ने सूचित किया है कि उन्होंने ऐसी सभी परिसंपतियों को अपने कब्जा में लिया है। मेरा सुझाव है कि जिला प्रशासन की मदद से जेएनएसी इन दोनों भवनों को शीघ्रातिशीघ्र कब्जा में ले ले और दायीं ओर के दरवाजा के समीप बनी पक्का दीवार की तरह ही बायीं ओर के दरवाजा के पास भी पक्का दीवार की बाउंड्री बना दी जाय। ऐसा होने से पूरा सूर्य मंदिर परिसर इस परिसीमा के भीतर रहेगा और शेष भूखंड को मनोरम क्रीड़ा उद्यान (स्पोर्टस पार्क) के रूप में निर्बाध विकसित किया जा सके।
आप अवगत होंगे कि सूर्य मंदिर का अधिकांश भाग भी सरकारी निधि से निर्मित है और पूरा मंदिर सरकारी जमीन पर अवस्थित है। निवर्तमान जिलाधिकारी, पूर्वी सिंहभूम ने इसका प्रबंधन भी हाथ में लेने का निर्देश जेएनएसी को दिया है। फिर भी मेरा मत है कि सूर्य मंदिर के प्रबंधन में कोई प्रशासनिक हस्तक्षेप नहीं रहेे, मंदिर की स्थायी बाउंड्री हो जाय, प्रबंधन समिति मंदिर का प्रबंधन करती रहे और दो बड़े-बड़े दरवाजों का उपयोग कर श्रद्धालु मंदिर में आते एवं जाते रहें, दर्शन, पूजा-पाठ, अनुष्ठान आदि कार्य सम्पन्न करते रहें। इसी तरह मंदिर की बाउंड्री के बाहर के भूखंड को आकर्षक एवं उपयोगी क्रीड़ा उद्यान के रूप में विकसित किया जाय। इस संदर्भ में मेरी विधायक निधि से स्वीकृत योजनाओं को शीघ्र कियान्वित किया जाए। ऐसा होने से क्रीड़ा उद्यान को भी मुख्य सड़क की ओर एक स्वतंत्र निकास मार्ग मिल जाएगा।
अनुरोध है कि उपर्युक्त विवरण के आलोक में शीघ्र कार्रवाई करना चाहेंगे।
सधन्यवाद,
ह॰/-
सरयू राय
प्रतिलिपि: उप प्रशासक, जमशेदपुर अधिसूचित क्षेत्र समिति, जमशेदपुर।
ह॰/-
सरयू राय