जमशेदपुर: आगामी झारखण्ड विधानसभा चुनाव – 2024 में जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा क्षेत्र से सौरभ विष्णु अपनी राजनीतिक किस्मत आजमाने जा रहे हैं। क्षेत्र की जनता के सामने उन्होंने शिक्षा, स्वास्थ्य, बेरोजगारी, नारी सम्मान और सुरक्षा जैसे मुद्दों को प्रमुखता से रखा है। सौरभ विष्णु का कहना है कि पिछले कई वर्षों से इस क्षेत्र के विधायक और अन्य जनप्रतिनिधियों ने जनता की उम्मीदों पर खरा नहीं उतरा है, और इन मूलभूत जरूरतों की उपेक्षा की है।
सौरभ विष्णु ने पूर्व के विधायकों पर आरोप लगाते हुए कहा कि उन्होंने केवल जनता को गुमराह किया है और जनता के वास्तविक मुद्दों की अनदेखी की है। विष्णु का मानना है कि क्षेत्र की समस्याओं का समाधान करने के लिए मजबूत और प्रभावी नेतृत्व की आवश्यकता है, और वे खुद को इस भूमिका के लिए उपयुक्त मानते हैं।
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चुनावी मुद्दों पर फोकस
सौरभ विष्णु ने चुनाव अभियान की शुरुआत करते हुए जनता के सामने पांच मुख्य मुद्दों को रखा है:
1. शिक्षा व्यवस्था में सुधार: सौरभ विष्णु का कहना है कि जमशेदपुर पूर्वी में शिक्षा व्यवस्था को बेहतर बनाने की सख्त जरूरत है। स्कूलों में गुणवत्ता वाली शिक्षा का अभाव है और छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ हो रहा है। उनका वादा है कि अगर वे चुने जाते हैं, तो क्षेत्र में शिक्षा के स्तर को सुधारने के लिए विशेष योजनाओं पर काम करेंगे, ताकि छात्रों को बेहतर अवसर मिल सकें।
2. स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार: क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवाओं की हालत भी दयनीय है। सौरभ विष्णु का कहना है कि सरकारी अस्पतालों और स्वास्थ्य केंद्रों की संख्या बढ़ाने के साथ-साथ उनकी सुविधाओं में भी सुधार किया जाएगा। उनका दावा है कि पूर्व के जनप्रतिनिधि इस मुद्दे पर केवल वादे करते रहे हैं, लेकिन जमीनी स्तर पर कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है।
3. बेरोजगारी का समाधान: बेरोजगारी जमशेदपुर पूर्वी का एक प्रमुख मुद्दा है। विष्णु ने कहा कि यहाँ के युवाओं को रोजगार के पर्याप्त अवसर नहीं मिल पा रहे हैं। उनका चुनावी एजेंडा रोजगार के नए अवसर पैदा करने और उद्योगों को बढ़ावा देने पर केंद्रित होगा। वे स्थानीय उद्योगों को प्रोत्साहित करेंगे और नई योजनाओं के माध्यम से युवाओं के लिए रोज़गार सृजन पर काम करेंगे।
4. नारी सम्मान और सुरक्षा: विष्णु का मानना है कि महिलाओं की सुरक्षा और सम्मान को लेकर पूर्व के विधायक गंभीर नहीं रहे हैं। महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराध और असुरक्षा की भावना को लेकर उन्होंने चिंता जाहिर की। सौरभ विष्णु ने वादा किया है कि अगर वे विधायक बनते हैं, तो वे महिलाओं की सुरक्षा और सम्मान सुनिश्चित करने के लिए ठोस कदम उठाएंगे, जिसमें महिला सुरक्षा बल की तैनाती और महिलाओं के लिए रोजगार के अवसरों में वृद्धि शामिल होगी।
5. शहर की टाटा कंपनी की नीतियों पर सवाल: सौरभ विष्णु ने टाटा कंपनी की नीतियों की भी आलोचना की है। उन्होंने कहा कि टाटा कंपनी जमशेदपुर की बड़ी औद्योगिक इकाई होने के बावजूद शहर के विकास में अपेक्षित योगदान नहीं दे रही है। विष्णु का मानना है कि टाटा कंपनी ने कई ऐसी नीतियां अपनाई हैं जो क्षेत्र के नागरिकों के हित में नहीं हैं। वे इन नीतियों के खिलाफ आवाज उठाने की तैयारी कर रहे हैं, ताकि कंपनी शहर के विकास में अपनी भूमिका निभा सके।
क्षेत्र में विकास की उम्मीद
विधानसभा चुनाव 2024 में जमशेदपुर पूर्वी क्षेत्र के मतदाताओं को सौरभ विष्णु से काफी उम्मीदें हैं। उनका कहना है कि वे अपने क्षेत्र की जनता के लिए बेहतर सुविधाएँ और अवसर उपलब्ध कराने का लक्ष्य लेकर चुनाव मैदान में उतरे हैं। विष्णु ने यह भी कहा कि वे पारदर्शिता और जवाबदेही के साथ जनता की समस्याओं का समाधान करेंगे।
सौरभ विष्णु के चुनावी अभियान को देखते हुए यह स्पष्ट है कि वे अपने आप को एक नये और युवा नेता के रूप में प्रस्तुत कर रहे हैं, जो जनता के वास्तविक मुद्दों को सुलझाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। उनका दावा है कि वे राजनीति में बदलाव लाएंगे और जमशेदपुर पूर्वी क्षेत्र को विकास की एक नई दिशा देंगे।
जनता की प्रतिक्रिया
चुनाव नजदीक आते ही सौरभ विष्णु की चुनावी रैलियों और सभाओं में भारी भीड़ जुटने लगी है। उनके मुद्दों और वादों पर जनता की प्रतिक्रियाएं मिलीजुली हैं। कुछ लोग उन्हें एक नये विकल्प के रूप में देख रहे हैं, जबकि कुछ लोगों का मानना है कि वे भी अन्य नेताओं की तरह चुनावी वादे करके सत्ता में आने का प्रयास कर रहे हैं। हालांकि, विष्णु का आत्मविश्वास और मुद्दों पर उनकी स्पष्टता उन्हें एक मजबूत प्रत्याशी के रूप में उभरने में मदद कर रही है।
जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा सीट पर 2024 का चुनाव दिलचस्प होने वाला है। सौरभ विष्णु ने शिक्षा, स्वास्थ्य, बेरोजगारी, नारी सम्मान, और टाटा कंपनी की नीतियों को लेकर जनता के सामने अपना एजेंडा स्पष्ट कर दिया है। अब यह देखना होगा कि क्या वे इन मुद्दों के दम पर जनता का विश्वास जीतने में कामयाब होते हैं या नहीं।