Jamshedpur : शनिवार 2 अक्टूबर, 2021
जिले का सबसे बड़ा अस्पताल अपनी गलतियों से बाज नहीं आ रहा है। भरपूर संसाधन और फंड होने के बावजूद मरीजों पर ध्यान ना देना एवं उनकी देखभाल ना करना अस्पताल की अब आदत सी बन चुकी है। आज ऐसा ही एक मामला बागुनहातु की रहने वाली नैनसी नाम की एक महिला के साथ हुआ।
1 अक्टूबर, 2021 यानी कल महिला इलाज के लिए एमजीएम अस्पताल आई थी जिसे डॉक्टरों ने डांट-डपट कर उनके साथ दुर्व्यवहार कर उन्हें घर भेज दिया था। आज जब मर्सी हॉस्पिटल में उनका चेकअप हुआ तो पता चला कि 4 दिन पहले ही उस महिला के पेट में बच्चा मर चुका है। अगर समय रहते एमजीएम अस्पताल के डॉक्टरों ने जांच किया होता तो शायद मासूम बच्चे की जान बच सकती थी।
इसकी जानकारी जनता सेवा समिति के संरक्षक मनोज मांझी को हुई तो उन्होंने तत्काल मामले को गंभीरता से लेते हुए एमजीएम अस्पताल का घेराव किया और अस्पताल प्रबंधन से इस बाबत बात की।
कुशल जवाब न मिल पाने से नाराज मनोज मांझी ने अस्पताल प्रबंधन को फटकार लगाई साथ ही कड़ी चेतावनी देते हुए कहा कि – “आगे इस तरह की गलती अस्पताल प्रबंधन के द्वारा किया जाएगा तो उसके गंभीर परिणाम प्रबंधन कमेटी को भुगतने पड़ सकते हैं।” वहीं उन्होंने कहा कि- “यह अस्पताल गरीब, लाचार और बेसहारा लोगों के लिए ही बनाया गया है। यदि इनकी सेवा यहां नहीं हो सकती तो प्रबंधक को इस्तीफा दे देना चाहिए। मरीजों के साथ खिलवाड़ बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
अगर किसी मरीज के साथ इस तरह की अनहोनी होती है तो एमजीएम अस्पताल का गेट जाम कर हमेशा के लिए धरना पर बैठ जाएंगे पर मरीजों की जान जाने नहीं देंगे।”