Ranchi : झारखंड के आइवान अभय मिंज मात्र 9 वर्ष में ही बने लोगों के लिए प्रेरणास्रोत।
आपको बता दें कि ‘फूड एंड एग्रीकल्चर ऑर्गेनाइजेशन ऑफ यूनाइटेड नेशन’, ‘यूनाइटेड नेशन फूड समिट (United Nations Food summit)’ और ‘ग्लोबल इंडिजेनस यूथ फोरम’ के संयुक्त आयोजन में वक्तव्य के लिए आइवान अभय मिंज को आमंत्रित किया गया है। यह अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन 16 जून से 18 जून 2021 के बीच ऑनलाइन, रोम में आयोजित किया जाएगा।
अभय 16 जून 2021 को 5 मिनट का स्वागत वक्तव्य देंगे। इस वर्चुल सम्मेलन में आइवान अभय मिंज आदिवासियों की संस्कृति, परंपरा और खेती पर चर्चा करेगा।
आइवान अभय मिंज हेहल डेलाटोली, रांची के रहने वाले हैं। इनके पिता डॉ अभय सागर मिंज जो कि डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी विश्वविधालय में एंथ्रोपोलॉजी (नृविज्ञान) में सहायक प्रोफेसर हैं। साथ ही निदेशक हैं लुप्तप्राय भाषाओं की संस्था के। वहीं माननीय सदस्य हैं – ICCA कंसोर्टियम के, YFEED नेपाल और एवाईआईपीएन फिलीपींस के सलाहकार भी हैं। अपने ट्वीट के माध्यम से इन्होंने यह जानकारी दी है। वहीं इनकी माता डॉ मीनाक्षी मुंडा भी शिक्षिका रह चुकी हैं।
आइवान के पिता अभय सागर मिंज ने बताया कि आइवान अपने वक्तव्य का आरंभ आदिवासीयों के पारंपरिक धर्म सरना की प्रार्थना से करेंगे।
इस कार्यक्रम में वे जनजातीय देशज ज्ञान और खेती पर अपनी बातों को रखेंगे।
बता दें कि वर्ष 2017 में रोम में आयोजित एक सम्मेलन में यह तय किया गया था कि आदिवासी युवाओं को भी अपने समृद्ध स्वदेशी ज्ञान और खाद्य पदार्थों को संरक्षित और संवर्धन के प्रयास का अवसर प्राप्त होना चाहिए।
यूनाइटेड नेशन फूड समिट (United Nations Food summit) का यह मानना है कि किसी भी समुदाय का भविष्य वहां के युवाओं पर निर्भर करता है। वहीं जनजातीय युवा आज बेहतर ढंग से नई टेक्नोलॉजी और पारंपरिक ज्ञान का सामंजस्य बना सकते हैं। ऐसे में जनजातीय युवा पीढ़ी को आगे आना होगा। इसलिए इस प्रकार के सम्मेलन में आदिवासी युवाओं का मुखर होना आवश्यक है।
इनके नाम की अनुशंसा येफेड के निदेशक अनीश श्रेष्टा ने की थी, जो ग्लोबल इंडिजेनस यूथ फोरम में मानद सदस्य हैं।
Aiwan Abhay Minz to represent Indigenous youth/children at the Global Meet. Many congratulations and thanks to @anish_online pic.twitter.com/EBZ04na8gu
— Dr. Abhay Sagar Minz (@abhayminz) June 7, 2021
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