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झारखंड

जिला स्तरीय खरीफ कार्यशाला- सह- किसान क्रेडिट कार्ड जागरूकता कार्यक्रम, उप विकास आयुक्त ने किसानों को किया संबोधित

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जमशेदपुर  | झारखण्ड  

उप विकास आयुक्त ने की अपील- सरकारी योजनाओं का लाभ लेते हुए जैविक खेती एवं मूल्यवर्धित उत्पाद की खेती से जुड़ें किसान

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घाटशिला स्थित जगदीश चन्द्र हाई स्कूल सभागार में जिला स्तरीय खरीफ कार्यशाला- सह- किसान क्रेडिट कार्ड जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यशाला में जिले के उप विकास आयुक्त श्री मनीष कुमार मुख्य अतिथि के रूप में शमिल हुए। उप विकास आयुक्त ने अपने संबोधन में विभागीय पदाधिकारियों एवं वैज्ञानिकों से कहा कि जिले में जैविक खेती को बढ़ावा दें, मूल्यवर्धित उत्पाद के खेती को बढ़ावा दें ताकि किसान का उपज का सही मूल्य उन्हें मिले एवं उपज भी बेकार न जाए। किसानों का ई-केवाईसी के बारे में उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना, झारखण्ड कृषि ऋण माफी योजना एवं किसान क्रेडिट कार्ड योजना के जो भी योग्य लाभुक है उनका शत-प्रतिशत ई-केवाईसी पूर्ण हो यह सुनिश्चित करें। इसके लिए विभाग से जुड़े सभी पदाधिकारी और कर्मियों को साथ मिलकर किसान हित में कार्य करने की बात कही। वहीं पशुपालन योजना के लाभुक कृषकों से लाभुक अंशदान की राशि जमा कराने के लिए किसानों को घर-घर जाकर उत्साहित करने का भी सुझाव दिये। मोटा अनाज के तहत मडुवा, कोदो, सांवा फसल की खेती तथा हर्बल नर्सरी को लेकर किसानों को प्रोत्साहित करने का सुझाव दिये। 

कार्यक्रम में एसडीएम घाटशिला श्री सत्यवीर रजक, जिला कृषि पदाधिकारी, जिला उद्यान पदाधिकारी, जिला गव्य विकास पदाधिकारी, जिला पशुपालन पदाधिकारी, अग्रणी जिला प्रबंधक, कृषि विज्ञान केन्द्र के वैज्ञानिक, क्षेत्रीय अनुसंधान केन्द्र के वैज्ञानिक, घाटशिला अनुमंडल के लैम्पस कर्मी, कृषि विभाग के कर्मी, आत्मा कर्मी एवं बैंक ऑफ इंडिया, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के प्रतिनिधि समेत 100 से अधिक किसानों ने भाग लिया।

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जिला कृषि पदाधिकारी श्री मिथिलेश कुमार कालिन्दी ने खरीफ कार्यशाला के आयोजन को लेकर बताया कि प्रत्येक वर्ष खरीफ एवं रबी के मौसम में कार्यशाला का आयोजन किया जाता है, इसका मुख्य उद्देश्य विभाग से जुड़े पदाधिकारी एवं कर्मियों के साथ ही साथ प्रगतिशिल किसानों को जिला में उपजाये जाने वाले विभिन्न फसलों जैसे धान, मक्का, दलहन तिलहन एवं मोटे अनाजों के उत्पादन, उत्पादकता से अवगत कराना है। इस वर्ष उपरोक्त फसल का निर्धारित जिला के आच्छादन क्षेत्रफल के अनुसार उत्पादन का लक्ष्य से अवगत कराया गया । 

इस मौके पर जिला उद्यान पदाधिकारी, जिला गव्य विकास पदाधिकारी एवं जिला पशुपालन पदाधिकारी के द्वारा अपने-अपने विभाग के योजनाओं के बारे में बताया गया। अग्रणी जिला प्रबंधक के द्वारा मुख्य रूप से किसान क्रेडिट कार्ड को लेकर जानकारी दी गई। सुयोग्य किसान को किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से ऋण देकर उनके आर्थिक स्थिति को मजबूत किया जा सकता है उन्हें स्वालंबन बनाया जा सकता है। उपस्थित किसानों से उन्होंने आग्रह किया कि किसान क्रेडिट कार्ड को लेकर बैंकों से किसी प्रकार का कोई दिक्कत होती है तो प्रखण्ड के कृषि पदाधिकारी, बीटीएम, एटीएम से संपर्क कर सकते है। किसान क्रेडिट कार्ड के लिए कभी बिचौलिये के चक्कर में न पड़े। 

कार्यक्रम के तकनीकी सत्र के दौरान कृषि विज्ञान केन्द्र के वरीय वैज्ञानिक आरती वीणा एक्का ने कृषि एवं संबंद्ध विभागों के योजनाओं से जुड़े किसानों को तकनीकी रूप से कृषि विज्ञान केन्द्र से जोड़कर किस प्रकार से सबल बनाया जा सकता है इस बारे में बताया । इस कार्यक्रम में गुड़ाबांदा प्रखण्ड के तीन प्रगतिशिल किसानों को उत्कृष्ट कृषि कार्य के लिए कृषि विभाग के योजनान्तर्गत 10-10 हजार रूपये का चेक एवं शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया गया। 

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